AJAY KUMAR
NEW DELHI: उत्तर प्रदेश चुनाव में तवज्जो न मिलने के के कारण पार्टी से नाराज चल रहे वरुण गाँधी को फिर बीजेपी के स्टार प्रचारकों की लिस्ट से बाहर कर दिया गया है. ख़बरें आ रही है कि इंदौर में बागी तेवर दिखाने के कारण वरुण को स्टार प्रचारकों की लिस्ट से बाहर किया गया है पर सूत्रों के हवाले से खबर मिली है कि बीजेपी नें पिछले हफ्ते ही स्टार प्रचारकों की लिस्ट से उनका नाम हटा दिया था बीजेपी ने स्टार प्रचारकों की जो लिस्ट चुनाव आयोग को छठे और सातवे चरण के चुनाव के लिए दी थी उसमें वरुण गाँधी का नाम नहीं था. सूत्र बतातें है कि उत्तर प्रदेश में बीजेपी के मुख्यमंत्री पद के दावेदारों में से एक वरुण गाँधी ने उसके बाद खुलकर बागी तेवर दिखानें शुरु कर दिए.
मध्य प्रदेश के इंदौर में एक कार्यक्रम में वरुण ने अपनी ही सरकार पर जमकर निशाना साधा था. इस कार्यक्रम में वरुण ने सिस्टम पर जमकर हमला बोला था और सिस्टम को बदलने की मांग भी की थी. वरुण ने सरकार पर अल्पसंख्यकों के विकास में फेल रहने का आरोप लगाया था. वरूण गाँधी ने हैदराबाद के पीएचडी छात्र रोहित वेमुला के आत्महत्या मुद्दे पर भी बोलते हुए कहा था कि रोहित का सुसाइड नोट पढ़कर उन्हें रोना आ गया था. वरुण ने किसानों के मुद्दे पर भी अपनी बात रखते हुए कहा था कि पिछले दो साल का सरकारी आकड़ा है कि 7500 किसानों ने आत्महत्या की जबकि हकीकत ये है कि ये संख्या 50 हजार के आस पास है. देश में कर्ज की वसूली में भेदभाव किया जाता है अमीरों को रियायत दे दी जती है और गरीबों को जान देनी पड़ती है. व्यवस्था पर सवाल खड़ा करते हुए वरुण गाँधी ने कहा था कि दस हजार करोड़ का लोन लेने वाला विजय माल्या नोटिस पाते ही देश छोड़कर भाग गया.
इंदौर में अपनी ही सरकार को असहज करने वाले बयान देने के बाद से ही लगा था कि पार्टी वरुण गाँधी पर एक्शन ले सकती है. मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, वरुण के बागी तेवरों के बाद केंद्रीय मंत्री कलराज मिश्र ने अप्रत्यक्ष रूप से उन्हें मर्यादा में रहने की हिदायत दी थी और कहा था कि समय आने पर पार्टी वरुण के बारे में निर्णय लेगी. आपको बतातें चले कि वरुण गाँधी को बीजेपी ने अपनी स्टार प्रचारकों की पहली लिस्ट में भी जगह नहीं दी थी लेकिन बाद में उनका नाम स्टार प्रचारकों की लिस्ट में जोड़ दिया गया था.