LUCKNOW: कुशीनगर की हाटा सीट से सपा के उम्मीदवार और सरकार में राज्यमंत्री राधेश्याम सिंह ने फिर गुंडागर्दी दिखाई है. मनमाफिक खबर न छपने के कारण इसने एक अख़बार के पत्रकार को जिन्दा जला कर मारने की धमकी दी है.
इस मंत्री ने गुंडागर्दी पहली बार नहीं की है इससे पहले इसने जिला पंचायत के अपर मुख्य अधिकारी को गन्दी गालियाँ देते हुए धमकी दी थी . तब भी इसके धमकी का ऑडियो वायरल हो गया था लेकिन करवाई के नाम पर अभी तक सिर्फ जांच चल रही है.
पत्रकार को धमकी देने का ऑडियो वायरल होने के बाद प्रशासन के होश उड़ गए और आदर्श आचार संहिता के उल्लंघन का केस दर्ज करा दिया गया है.पत्रकार को गली देने का मामला अब तूल पकड़ रहा है पत्रकारों सहित कई संगठन मंत्री के इस रवैये का विरोध करे हुए सड़क पर उतारे और मंत्री पर कड़ी कार्यवाई की मांग की.
समाजवादी पार्टी के नेताओं की गुंडागर्दी का ये मामला पहला मामला नही है आये दिन इस पार्टी के नेता अधिकारियों सहित आम जनता के साथ ऐसा ही सुलूक करते रहते हैं.
आपको याद दिला दें कि उत्तर प्रदेश के शाहजहांपुर के पत्रकार जागेन्द्र के हत्याकांड में भी समाजवादी पार्टी के ही एक एक मंत्री राममूर्ति वर्मा का नाम सामने आया था जागेन्द्र का परिवार कई दिनों तक धरनें पर भी बैठा रहा लेकिन राममूर्ति वर्मा पर कोई ठोस कार्यवाई नही हुई.
सपा सरकार के ही एक दुसरे मंत्री कैलाश चौरसिया पर भी आरोप लगा था कि उसने मिर्जापुर के एक आरटीओ के साथ मारपीट की थी. समाजवादी पार्टी के ही एक नेता के तहसीलदार को धमकी देने का ऑडियो वायरल हो गया था. समाजवाद की गुंडागर्दी के ऐसे ही न जाने कितने मामले सामने आते रहते है लेकिन समजवादी पार्टी का नेतृत्व इन मामलों का संज्ञान गंभीरता से नहीं लेता. अब बड़ा सवाल ये उठता है कि क्या सिर्फ अंसारी बंधुओं को समाजवादी पार्टी में शामिल न होने देने से पार्टी की छवि साफ हो जाएगी क्या यही समाजवाद है . अखिलेश अगर वाकई समाजवादी पार्टी को साफ बनाना चाहतें हैं तो उन्हें अपने बेलगाम गुंडों पर कार्यवाही करनी चाहिये. अगर गुंडाराज ऐसे ही रहा तो अखिलेश का काम कभी नहीं बोल पायेगा.